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BREAKING : केंद्र सरकार ने 5 साल के लिए PFI पर लगाया प्रतिबंध, सहयोगी संगठनों पर भी शिकंजा

PFI Founder: हाल ही में NIA और तमाम राज्यों की पुलिस और एजेंसियों की पीएफआई (PFI) के ठिकानों पर छापेमारी कर सैकड़ों गिरफ्तारियां के बाद केंद्र सरकार ने बड़ा एक्शन लिया है. केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार ने पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (PFI), उसके सहयोगियों और तमाम मोर्चों को गैरकानूनी घोषित कर दिया है. केंद्र ने इन सभी पर 5 साल का बैन लगाया है. केंद्र सरकार ने इसे आधिकारिक गजट में भी प्रकाशित किया है. पीएफआई को बैन करने की तैयारी पहले ही शुरू हो गई थी, जिसके बाद गृह मंत्रालय ने यह आदेश जारी कर दिया.

इन राज्यों में एक्टिव है PFI

पीएफआई अभी दिल्ली, आंध्र,प्रदेश, असम, बिहार, केरल, झारखंड, पश्चिम बंगाल, उत्तर प्रदेश, कर्नाटक, पश्चिम बंगाल, राजस्थान, हरियाणा, तमिलनाडु, तेलंगाना, मध्य प्रदेश में एक्टिव है. इसकी स्थापना 2006 में केरल में की गई थी और वह भारत में हाशिये पर पड़े वर्गों के सशक्तिकरण के लिए नव सामाजिक आंदोलन चलाने का दावा करता है. हालांकि, सुरक्षा एजेंसियों का दावा है कि पीएफआई कट्टर इस्लाम का प्रचार कर रहा है. इस संगठन की स्थापना केरल में की गई थी और इसका मुख्यालय दिल्ली में है.

15 राज्यों में की गई थी छापेमारी 

पीएफआई के खिलाफ कार्रवाई पांच दिन पहले भी की गई थी. छापेमारी की कार्रवाई कर्नाटक, गुजरात, दिल्ली, महाराष्ट्र, असम और मध्य प्रदेश की राज्य पुलिस ने की. NIA की अगुआई में विभिन्न एजेंसियों की टीमों ने 22 सितंबर को देश में आतंकवादी गतिविधियों का समर्थन करने के आरोप में पीएफआई के खिलाफ 15 राज्यों में छापेमारी की थी और उसके 106 नेताओं और कार्यकर्ताओं को गिरफ्तार किया था. एनआईए, पीएफआई से जुड़े 19 मामलों की जांच कर रही है.

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