छत्तीसगढ़बिलासपुर

एडवोकेट की संदिग्ध मौत पर परिजनों ने उठाए सवाल: कहा- प्रेम प्रसंग की बातें झूठी, राहुल नहीं कर सकता सुसाइड, शरीर पर कैसे लगी चोट

एडवोकेट की संदिग्ध मौत पर परिजनों ने उठाए सवाल: कहा- प्रेम प्रसंग की बातें झूठी, राहुल नहीं कर सकता सुसाइड, शरीर पर कैसे लगी चोट

बिलासपुर। छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट के युवा अधिवक्ता राहुल अग्रवाल की मौत संदेहों के घेरे में आ गई है। बिलासपुर पुलिस द्वारा शुरुआती जांच में इसे प्रेम प्रसंग से जुड़ा आत्महत्या का मामला बताने पर परिजन और अधिवक्ता समुदाय ने विरोध दर्ज कराया है। इसी कड़ी में सोमवार को हाईकोर्ट के वरिष्ठ अधिवक्ताओं का एक प्रतिनिधिमंडल बिलासपुर कलेक्टर से मिला और मामले की स्पेशल इन्वेस्टिगेशन टीम (SIT) से जांच कराने की मांग की।

मूल रूप से भाटापारा निवासी राहुल अग्रवाल बीते सात वर्षों से छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट में प्रैक्टिस कर रहे थे। वे युवा, मिलनसार और मेहनती अधिवक्ताओं में गिने जाते थे। बताया जाता है कि घटना वाले दिन वे शाम को अपने दोस्तों के साथ घूमने निकले थे। देर रात तक घर नहीं पहुंचने पर परिजनों ने चिंता जताते हुए पुलिस में गुमशुदगी की शिकायत दर्ज कराई।

इसी बीच देर रात राम सेतु पुल पर खड़ी एक संदिग्ध कार दिखने पर स्थानीय युवकों को शक हुआ। उन्होंने पुल के नीचे देखा तो पानी में एक शव तैरता हुआ दिखा। सूचना मिलते ही सिविल लाइन पुलिस मौके पर पहुंची और शव को निकलवाकर पोस्टमॉर्टम के लिए भेजा। कपड़ों और दस्तावेजों के आधार पर पुलिस ने शव की पहचान अधिवक्ता राहुल अग्रवाल के रूप में की और परिजनों को सूचना दी।

परिजनों का आरोप है कि पुलिस बिना विस्तृत जांच किए मामले को प्रेम प्रसंग और आत्महत्या से जोड़ रही है, जबकि कई ऐसे पहलू हैं जिनकी निष्पक्ष जांच जरूरी है। अधिवक्ता समुदाय का भी कहना है कि किसी भी एंगल पर पहुंचने से पहले वैज्ञानिक तरीके से सभी संभावित तथ्यों की जांच होनी चाहिए।

इसी मांग को लेकर सोमवार को हाईकोर्ट के वरिष्ठ अधिवक्ताओं के प्रतिनिधिमंडल ने बिलासपुर कलेक्टर से मुलाकात की। उन्होंने कहा कि अधिवक्ता समुदाय इस घटना को लेकर बेहद आहत है और पूरी सच्चाई सामने आनी चाहिए। कलेक्टर ने अधिवक्ताओं को आश्वासन दिया कि वे इस मामले में एसएसपी से चर्चा कर उचित और निष्पक्ष जांच सुनिश्चित करेंगे।

इसके अलावा अधिवक्ताओं ने यह भी कहा कि यदि जरूरत पड़ी तो वे राज्य के उच्च अधिकारियों और सरकार से मिलकर एसआईटी गठन की औपचारिक मांग करेंगे ताकि केस में किसी भी स्तर पर राजनीतिक या पुलिसिया दबाव का असर न पड़े। उधर, पुलिस का कहना है कि मामले की जांच अभी जारी है और पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट आने के बाद ही मौत के कारणों पर स्पष्ट जानकारी मिल सकेगी।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button