छत्तीसगढ़

छत्तीसगढ़ के केशकाल में मिला दुर्लभ ट्राइकैरीनेट हिल टर्टल कछुआ, देखें कैसा होता है

केशकाल। केशकाल एक बार फिर चर्चा में आया है। दरअसल बोरगांव डीहीपारा में ट्राइकैरीनेट हिल टर्टल प्रजाति का कछुआ मिला है। सुरक्षा के लिहाज से इस कछुए को नालाझर के जंगल में छोड़ दिया गया है। बस्तर में मानसून के मौसम में यह प्रजाति उत्तर बस्तर कांकेर से लेकर कोंडागांव, केशकाल, फरसगांव तक आसानी से मिल जाती है।

 

यह कछुआ डीहीपारा के आशा सलाम को मिला। उन्होंने वाइल्ड लाइफ वीडियोग्राफर निहाल नेताम को इसकी जानकारी दी। इसके बाद वन विभाग की टीम ने नेचर वेलफेयर फाउंडेशन के सदस्यों के साथ इसे जंगल में छोड़ दिया है। ग्रामीणों के मुताबिक साल के जंगल में यह कछुआ आसानी से मिल जाता है, जो पकड़ने पर तेज आवाज निकालता है। साथ ही दुर्गंध आने की वजह से इसका शिकार नहीं किया जाता। यह प्रजाति केशकाल में बायोडायवर्सिटी सर्वे में मिली है।

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