रायपुर : पुलिस ने पीएसीएल चिटफंड कंपनी के डायरेक्टरों के खिलाफ धारा 420, 467, 468 व निक्षेपक हितों के संरक्षण अधिनियम के तहत केस दर्ज किया है। तिहाड़ जेल में बंद रहे पीएसीएल चिटफंड कंपनी के दो डायरेक्टरों को रायपुर पुलिस ने प्रोडक्शन वारंट पर यहां कोर्ट में पेश किया। डायरेक्टर गुरमीत सिंह और सुब्रतो भट्टाचार्य की औपचारिक गिरफ्तार की गई। आरोपितों के खिलाफ थाना मौदहापारा और थाना गोबरा नवापारा में अपराध पंजीबद्ध है।
कंपनी के डायरेक्टर गुरमीत व सुब्रतो भट्टाचार्य दिल्ली के तिहाड़ जेल में बंद थे। पुलिस ने इन डायरेक्टरों को प्रोडक्शन वारंट पर तलब किया और उनसे पूछताछ की थी। पूछताछ के बाद इन दोनों के खिलाफ पुलिस ने कोर्ट में चालान पेश कर दिया।
मौदहापारा थाना क्षेत्र में आरोपितों ने पीएसीएल चिटफंड कंपनी का आफिस खोल रखा था, जहां से बैठकर सैड़कों लोगों से करोड़ों रुपये ठगी की गई। पुलिस के पास प्राप्त आवेदन के आधार पर 90 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी की गई। पुलिस अब आरोपितों के प्रापर्टी की जांच कर रही है। प्रापर्टी के बाद कुर्की की कार्रवाई की जाएगी।
अकेले रायपुर जिले में ही 274 चिटफंड कंपनियों के तीन लाख से अधिक निवेशक हैं। इनमें से आठ हजार से अधिक निवेशकों को जून में 4.14 करोड़ की राशि बांटी गई है। बताया जा रहा है कि निवेशकों को 10 अरब से ज्यादा की राशि लौटाई जानी है।
अधिकारियों का कहना है कि जिला प्रशासन द्वारा इन दिनों चिटफंड कंपनियों की संपत्ति की नीलामी कर जल्द से जल्द निवेशकों को राशि लौटाने की तैयारी की जा रही है। अगले महीने आठ सितंबर को एक चिटफंड कंपनी की संपत्ति की नीलामी होनी है। रायपुर जिला प्रशासन द्वारा छह जिला कलेक्टरो को चिटफंड कंपनियों की संपत्ति की पहचान के लिए पत्र भी लिखा गया है।
प्रदेश भर में चिटफंड कंपनियों के 12 लाख से अधिक निवेशक हैं। बताया जा रहा है कि प्रदेश के निवेशकों को लगभग पांच हजार करोड़ से अधिक की राशि बांटी जानी है। शासन द्वारा इसके लिए चिटफंड कंपनियों पर कड़ी से कड़ी कार्रवाई की जा रही है।