Dove सहित कई ब्रांडेड शैंपू के उपयोग से हो सकता है ब्लड कैंसर जैसी गंभीर बीमारी, जहाज से हुआ खुलासा
नई दिल्ली: यूनिलीवर ने Dove सहित एयरोसोल ड्राई शैम्पू के कई लोकप्रिय ब्रांडों को वापस मंगाया है. कंपनी के कई शैंपू ब्रांडों में बेंजीन नामक खतरनाक केमिकल पाया गया है, जिससे कैंसर होने का खतरा है. कंपनी ने Dove, Nexxus, Suave, Tigi और Tresemme एयरोसोल समेत कई ड्राई शैम्पू को अमेरिकी बाजार से मंगा लिया है. फूड एंड ड्रग एडमिनिस्ट्रेशन की वेबसाइट पर पोस्ट किए गए एक नोटिस के अनुसार, रिकॉल में नेक्सस, सुवे, ट्रेसमे और टिगी जैसे ब्रांड शामिल हैं, जो रॉकहोलिक और बेड हेड ड्राई शैंपू बनाते हैं. 2021 से पहले के प्रोडक्ट वापस मंगाए ब्लूमबर्ग की रिपोर्ट के अनुसार, यूनिलीवर ने अक्टूबर 2021 से पहले बनाए गए सभी प्रोडक्ट्स को वापस मंगाया है. इस खबर ने एक बार फिर से पर्सनल केयर वाले प्रोडक्ट्स की सेफ्टी पर सवाल खड़े कर रहा है. पिछले डेढ़ साल में कई एयरोसोल सनस्क्रीन जैसे कि जॉनसन एंड जॉनसन की न्यूट्रोगेना, एडजवेल पर्सनल केयर कंपनी की बनाना बोट को लेकर इस तरह की खबरें सामने आ चुकी हैं. रिपोर्ट के अनुसार, पीऐंडजी ने पिछले साल दिसंबर में बेंजीन के मिश्रण का हवाला देते हुए अपने पैंटीन और हर्बल एसेंस ड्राई शैम्पू को वापस मंगाया था. बल्ड कैंसर का खतरा कोलिन्स डिक्शनरी के मुताबिक ड्राई शैम्पू, पाउडर या स्प्रे जैसा ही होता है. इस तरह के प्रोडक्ट्स का इस्तेमाल आमतौर पर बालों को गीला किए बिना साफ करने के लिए किया जाता है. यह पहली बार नहीं है जब स्प्रे-ऑन ड्राई शैम्पू पर सवाल उठे हैं. कंपनी ने उत्पादों में पाए जाने वाले बेंजीन की मात्रा जारी नहीं की है. लेकिन यूनिलीवर ने कहा है कि उसने सावधानी से सभी प्रोडक्ट को वापस बुला लिया है. फूड एंड ड्रग एडमिनिस्ट्रेशन ने कहा है कि वापस बुलाए गए उत्पादों में बेंजीन के डेली कॉन्टैक्ट से स्वास्थ्य पर प्रतिकूल परिणाम होने की आशंका है.
ब्लूमबर्ग ने एजेंसी के हवाले से कहा कि बेंजीन के संपर्क में आने से ल्यूकेमिया और अन्य बल्ड कैंसर हो सकते हैं. जॉनसन बेबी पाउडर पर हुई थी कार्रवाई हाल ही में महाराष्ट्र सरकार के खाद्य एवं औषधि प्रशासन ने जॉनसन बेबी पाउडर बनाने का लाइसेंस रद्द कर दिया था. पाउडर के सैंपल स्टैंडर्ड क्वालिटी पर खरे नहीं उतरे थे. जॉनसन बेबी पाउडर के सैंपल मुलुंड, मुंबई, पुणे और नासिक से लिए गए थे.
एफडीए ने जारी एक प्रेस नोट में कहा था कि जॉनसन बेबी पाउडर के इस्तेमाल से नवजात शिशुओं की त्वचा को नुसान पहुंच सकता है. FDA के अनुसार, जॉनसन बेबी पाउडर के सैंपल लैब में परीक्षण के दौरान मानक पीएच वैल्यू के मुताबिक नहीं थे.