छत्तीसगढ़

आखिर आज भारत बंद क्यों है ? क्या कारण पूरी खबर …

 21 अगस्त 2024 को पूरे भारत बंद का ऐलान किया गया है। यह विरोध सुप्रीम कोर्ट के उस फैसले के खिलाफ है, जिसे ऐतिहासिक इंदिरा साहनी मामले में लिए गए कोर्ट के निर्णय के खिलाफ बताया गया है। इसको देखते हुए पूरे भारत में सभी दुकानें, बाजार, सार्वजनिक सेवाएं और अन्य सुविधाएं को बंद करने का आह्वान किया गया है। ऐसे में यहां यह जानना जरूरी है कि आखिर क्या वजह है, जिस वजह से भारत बंद का ऐलान किया गया है।

21 अगस्त 2024 को पूरे भारत बंद का ऐलान किया गया है। यह विरोध सुप्रीम कोर्ट के उस फैसले के खिलाफ है, जिसे ऐतिहासिक इंदिरा साहनी मामले में लिए गए कोर्ट के निर्णय के खिलाफ बताया गया है।

इसको देखते हुए पूरे भारत में सभी दुकानें, बाजार, सार्वजनिक सेवाएं और अन्य सुविधाएं को बंद करने का आह्वान किया गया है। कुछ जगहों पर धरना-प्रदर्शन देखा गया है, जबकि कुछ जगहों पर स्थिति सामान्य है। ऐसे में यहां यह जानना जरूरी है कि आखिर क्या वजह है, जिस वजह से भारत बंद का ऐलान किया गया है।

राजनीतिक पार्टियों ने किया है समर्थन

भारत बंद का विभिन्न राजनीतिक पार्टियों ने भी समर्थन किया है। इसमें प्रमुख रूप से बहुजन समाज पार्टी(बसपा), राष्ट्रीय लोक दल(प), आजाद समाज पार्टी(कांशीराम) और अन्य संगठनों की ओर से भी भारत बंद का समर्थन किया गया है। साथ ही कुछ जगहों पर धरना-प्रदर्शन के दौरान पुलिस का लाठीचार्ज भी देखा गया है।

क्या है भारत बंद की प्रमुख वजह

भारत बंद की प्रमुख वजह की बात करें, तो हाल ही में सुप्रीम कोर्ट की ओर से अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति श्रेणी में क्रीमिलेयर वर्ग को आरक्षण देने का फैसला किया गया है। कोर्ट की ओर से कहा गया है कि जिन लोगों को इस श्रेणी में आवश्यकता है, उन्हें आरक्षण मिलना चाहिए।

इस पर विपक्षी पार्टियों ने इसे इंदिरा साहनी मामले में नौ सदस्यी पीठ द्वारा आरक्षण पर दिए गए निर्णय के खिलाफ बताया गया है, जिससे आरक्षण का नींव पड़ी थी।

इसलिए लिया गया भारत बंद का निर्णय

विपक्षी पार्टियों का कहना है कि सुप्रीम कोर्ट के इस फैसले से अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति के संवैधानिक अधिकारों का हनन होगा। क्योंकि, यह पहले से लागू आरक्षण में विशेष आरक्षण है। ऐसे में आरक्षण बचाओं संघर्ष समिति की ओर से देशभर में भारत बंद का आह्वान किया गया है। साथ ही, यह मुद्दा अब राजनीतिक दिशा में बढ़ गया है, जिसके तहत विभिन्न राजनीतिक पार्टियों द्वारा इसका विरोध जताया जा रहा है।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button