
रायपुर में नकली ब्रांडेड चावल का खुलासा: दिल्ली कोर्ट के आदेश पर 180 टन चावल जब्त….
रायपुर। राजधानी रायपुर में नकली ब्रांडेड चावल की बड़े पैमाने पर बिक्री का सनसनीखेज मामला सामने आया है। दिल्ली की पटियाला हाउस कोर्ट के आदेश पर नियुक्त विशेष आयुक्तों की टीम ने टैगोर नगर, एकता नगर और टेमरी क्षेत्र के गोदामों में छापा मारकर 180 टन चावल जब्त किया है। इसमें 90 टन चावल ‘अब्बा हुजूर’ ब्रांड का नकली लेबल लगाकर बेचा जा रहा था।
‘अब्बा हुजूर’ देश के प्रतिष्ठित चावल ब्रांडों में से एक है, जिसका उत्पादन तेलंगाना के मिर्यालगुडा स्थित वासंता राइस इंडस्ट्रीज द्वारा किया जाता है। कंपनी को पिछले महीने सूचना मिली थी कि रायपुर में उनकी ब्रांड की डुप्लीकेट बोरियों में घटिया क्वालिटी का लोकल चावल भरकर महंगे दामों पर बेचा जा रहा है। इसके बाद कंपनी ने पटियाला हाउस कोर्ट में याचिका दायर की थी। कोर्ट ने उनके पक्ष में फैसला सुनाते हुए दो न्यायालय आयुक्तों की नियुक्ति की और छापेमारी के आदेश दिए।
दिल्ली से आई टीम ने माना थाना पुलिस और वासंता राइस इंडस्ट्रीज के अधिकारियों के साथ मिलकर रायपुर के तीन प्रमुख गोदामों की जांच की, जो ‘आराध्या एग्रोटेक’ कंपनी के हैं। इस कंपनी के संचालक नरेंद्र खेतपाल और किशन खेतपाल हैं। गोदामों में भारी मात्रा में ब्रांडेड पैकिंग में लोकल चावल रखा गया था। जांच में पता चला कि चावल की पैकिंग में नकली लेबल लगाकर उपभोक्ताओं को गुमराह किया जा रहा था और उसे असली ‘अब्बा हुजूर’ ब्रांड बताकर महंगे दाम वसूले जा रहे थे।
टीम को इन गोदामों से हजारों की संख्या में खाली कट्टे भी मिले हैं, जिन पर ‘अब्बा हुजूर’ की ब्रांडिंग की गई थी। छापे के बाद पूरी चावल की खेप को जब्त कर लिया गया है और गोदामों को सील कर दिया गया है। माना थाना पुलिस इस मामले में जल्द एफआईआर दर्ज करेगी।
फिलहाल खेतपाल बंधुओं और अन्य आरोपियों को ‘अब्बा हुजूर’ ब्रांड के चावल की बिक्री से रोक दिया गया है। जांच में दो राइस मिलरों की संलिप्तता की बात सामने आई है, जिनके खिलाफ भी कार्रवाई की तैयारी की जा रही है।
यह कार्रवाई न सिर्फ उपभोक्ताओं की सेहत और विश्वास की रक्षा के लिए अहम है, बल्कि ब्रांड धोखाधड़ी के खिलाफ सख्त संदेश भी देती है।