भगवान शिव पर चढ़ने वाला यह फल हड्डियों के लिए है रामबाण इलाज, आइए जानें इसके बारे में…
हेल्थ डेस्क। भगवान शिव को धतूरा फल बहुत पसंद है। भारत में कई प्रकार के धतूरे पाए जाते हैं, लेकिन इनमें से अधिकांश प्रकार के धतुरे काफी विषैले होते हैं। इसके फल के साथ-साथ पौधे के अन्य हिस्से भी काफी विषाक्त माने जाते हैं। यदि कोई इसे खा ले तो उसकी जान पर बन आ सकती है। इसके सेवन से हृदय गति में तेजी, उल्टी, नशा आदि प्रभाव देखने को मिलते हैं, लेकिन इसी धतूरे का प्रयोग अगर आयुर्वेदिक तरीके से किया जाए तो इसे हड्डियों के दर्द, सायटिका आदि के लिए काफी कारगर माना जाता है।
आयुर्वेदिक चिकित्सक डॉक्टर जितेंद्र उपाध्याय बताते हैं कि धतूरा काफी नशीला पदार्थ है। कभी भी लोगों को इसका सेवन किसी भी तरीके से नहीं करना चाहिए। आयुर्वेद में धतूरा कुछ बीमारियों में काफी कारगर माना जाता है, जिनमें से मुख्य है हड्डियों से जुड़ी हुई समस्याएं। जैसे हड्डियों में दर्द, सायटिका, गठिया आदि। धतूरे के मिश्रण से बना हुआ तेल हड्डियों के दर्द को दूर कर सकता है। तेल के लगातार 5 से 7 दिनों के प्रयोग से ही बदन दर्द में आराम मिलने लगता है। बाजार में इसका तेल बहुत कम ही जगह मिलता है, लेकिन इसे हम आसानी से अपने घर में भी तैयार कर सकते हैं।
धतुरा फल से ऐसे तैयार करें तेल- धतूरे का तेल बनाने के लिए सबसे पहले इसके फलों से बीज निकाल लेना चाहिए। अब उसे सरसों के तेल में लहसुन, हींग और काली हल्दी मिलाकर अच्छी तरह पका लेना चाहिए। तेल जब अच्छे से पककर लाल हो जाए तो इसे छानकर अलग बर्तन में रख लेना चाहिए। रोजाना तेल को मालिश करने से पहले एक बार गर्म कर लेना चाहिए, उसके बाद दर्द वाली जगह पर इसकी मालिश कर सकते हैं। जिससे जल्द ही आराम मिलेगा।