बलौदाबाजार कांड में गिर सकती है कलेक्टर-एसपी पर गाज, देर रात तक 2-2 आईजी-कमिश्नर ने किया कैंप
रायपुर । बलौदाबाजार की घटना से सरकार बेहद नाराज है। इंटेलिजेंस इनपुट के आधार पर प्रशासन ने सतर्कता दिखायी होती, तो शायद इतनी बड़ी घटना नहीं होती। लिहाजा, कलेक्टर केएल चौहान और एसपी सदानंद कुमार पर गिर सकती है। दरअसल पिछले कई दिनों से ये आशंका गहरा रही थी कि समाज का गुस्सा कभी भी भड़क सकता है। ऐसे में प्रशासनिक स्तर पर जितनी कार्रवाई की जानी थी, वो कार्रवाई नहीं की गयी। प्रदर्शनकारियों को रोकने के लिए भी जितनी मुस्तैदी पुलिस प्रशासन की दिखनी चाहिये थी वो नहीं दिखी। पुलिस की कम संख्या को देख ही उपद्रवियों का हौसला बढ़ गया और वो पुलिस पर भी हमला करने की हिमाकत कर बैठे।
सरकार के सख्त निर्देश पर देर रात ही रायपुर आईजी अमरेश मिश्रा, राजनांदगांव आईजी संजीव शुक्ला, कमिश्नर संजय अलंग बलौदाबाजार पहुंचे थे। वहीं धारा 144 भी लागू कर दिया गया था। वहीं रायपुर में मुख्यमंत्री निवास पर हाईलेवल मीटिंग हुई। इस बैठक में मुख्यमंत्री के अलावे उप मुख्यमंत्री विजय शर्मा, मंत्री टंकराम वर्मा सहित पुलिस और प्रशासन के उच्चाधिकारी मौजूद थे। बैठक में घटना को लेकर लंबी चर्चा हुई। इस दौरान प्रशासनिक चूक भी बातें सामने आयी है। ऐसे में माना जा रहा है कि कलेक्टर-एसपी पर सरकार की गाज गिर सकती है।
घटना के बाद रायपुर कमिश्नर संजय अलंग ने कहा कि प्रशासन और पुलिस ने काफी व्यवस्था लगाई थी, जो घटना हुई है पुलिस इंवेस्टिगेट कर रही है कार्रवाई की जाएगी। वहीं रायपुर रेंज आईजी अमरीश मिश्रा ने कहा कि सभा स्थल से यहां तक जो भी वैधानिक कार्य किए गए हैं हर बिंदु पर कार्रवाई की जाएगी, कठोर कार्रवाई की जाएगी। 15 दिनों से बैठक चल रही थी, कलेक्टर- एसपी लगातार बैठक कर रहे थे। लेकिन उसके बाद भी यह हुआ
आईजी ने बताया कि कल तक प्रदर्शनकारियों के नेताओं ने आश्वासन दिया था कि कोई भी ऐसा कार्य नहीं किया जाएगा।जिससे लोक संपत्ति को लोक शांति को हानि हो, बावजूद ऐसी घटनाएं हुई है। उसके लिए सब उत्तरदायी है और उस पर कार्रवाई की जाएगी। दो दर्जन से ज्यादा पुलिसकर्मी घायल है।जिनका इलाज किया जा रहा है कुछ गंभीर हालत में है। गंभीर घायलों को इलाज के लिए रायपुर भेजा गया है। अभी कोई गिरफ्तारी नहीं हुई है गिरफ्तार करेंगे।