
चलती ट्रेन से सेल्फी लेने के चक्कर में गिरी युवती, पहचान न होने पर पुलिस ने लावारिस मान दफनाया…
रायपुर। खारून नदी के रेलवे पुल पर बड़ा हादसा हो गया। एक लड़की, जो लगभग 20-22 साल की थी, ट्रेन में फोटो खींच रही थी कि अचानक गिर गई। वो सीधे ट्रैक पर गिरी, उसके सिर में बहुत चोट आई, और वो तुरंत मर गई। ये सब रात में हुआ, पर पुलिस को सुबह पता चला कि ट्रैक के पास खून से लथपथ एक बॉडी पड़ी है।
तीन दिन तक किसी को पता नहीं चला कि वो कौन थी, तो पुलिस ने कहा कि सब ठीक है, और उन्होंने उसे बिना मालिक का मानकर दफना दिया। मज़े की बात तो ये है कि पुलिस ने उसकी फोटो भी नहीं दिखाई किसी को, न मीडिया को भेजी, न लोगों को बताया कि ऐसी कोई घटना हुई है।
ये मामला, 5 महीने पहले हुई एक और गलती की याद दिलाता है। आमानाका पुलिस ने एक इंजीनियर, मृणाल (41), जो शंकरनगर में रहते थे, की बॉडी नाले में मिलने पर उन्हें भी बिना मालिक का मानकर दफना दिया था। जबकि उनके गायब होने की रिपोर्ट सिविल लाइंस थाने में लिखी गई थी। दोनों थानों ने मिलकर काम नहीं किया, इसलिए मृणाल की पहचान नहीं हो पाई। उनके घर वालों को 4 दिन पहले ही पता चला कि उनकी डेथ हो गई है।
पुलिस की ऐसी गलतियों से ये सवाल उठता है कि वो लोगों की पहचान करने में कितनी लापरवाह है, और थानों के बीच में कोई तालमेल क्यों नहीं है।



