केंद्रीय बजट-2021 पर व्यापारी संगठनों ने केंद्रीय वित्त मंत्री को लिखी चिठ्ठी, की ये 8 डिमांड
- रायपुर। केंद्रीय बजट-2021 के लिए प्रदेश के बड़े व्यापारिक संगठनों ने अपनी मांगें केंद्र सरकार को भेज दी है, जिसमें कैट सीजी चैप्टर और चैंबर ऑफ कॉमर्स ने केंद्र सरकार के सामने कई मांगें रखी है। कैट ने जहां नकद लेन-देन की सीमा 10 हजार से बढ़ाकर 2 लाख करने के साथ ही डिजिटल ट्रांजिक्शन को पूरी तरह नि:शुल्क करने की मांग रखी है, वहीं चैंबर ने भी डिजिटल ट्रांंजिक्शन में 100 फीसदी राहत की बात कहीं है।
कैट सीजी चैप्टर की मांगें-
1. लोन/डिपाजिट लेन-देन की सीमा जो कि वर्तमान में मात्र बीस हजार है उसे दो लाख किया जाना चाहिए।
2. नगद खरीदी -बिक्री की सीमा जो कि वर्तमान मे दस हजार है, वह दो लाख तक होनी चाहिए।
3. नए बजट प्रावधानों में 2 लाख या अधिक रूपये से अधिक की राशि एक सौदों के बदले एक दिन में 1 अप्रैल 2017 के बाद नगद नहीं ली जा सकती है। इस प्रकार के नियमों से देश का आर्थिक विकास रूकेगा मंदी आएगी।
4. क्रेडिट कार्ड एवं डेबिट कार्ड से ट्रांजिक्शन करने पर लगने वाले स्वैपिंग चार्जेस को पूरी तरह माफ किया जाना चाहिए, जिससे कि डिजिटल लेनदेन को बढावा मिले।
5. हाउसिंग लोन में ब्याज की छूट 2,00,000 रूपये है इसे बढाकर 4 लाख किया जाना चाहिए, हेल्थ सेक्टर में पैकेज।
6. 5 लाख तक आय पर आयकर पूरी तरह माफ होना चाहिए।
7. आयकर सर्च की स्थिति मे 75 प्रतिशत तक कर व पेनाल्टी शास्ति आरोपित करने के प्रावधान बनाए गए हैं। इस प्रावधान को सरल बनाया जाना चाहिए।
8. आयकर धारा के मुताबिक मेडिकल ट्रीटमेंट पर 40,000 से 60,000 रूपये की छूट है। इसे कम से कम 1 लाख रुपए तक किया जाना चाहिए।
चैंबर ऑफ कॉमर्स की मांगें-
1. नकद लेन-देन एक दिन में 10 हजार से अधिक नहीं किया जा सकता। इसे कम से कम 20 हजार किया जाना चहिए।
2. कैशलेस को बढ़ावा देने के लिए डिजिटल ट्रांजिक्शन को शुल्क से पूरी तरह मुक्त रखा जाना चाहिए।
3. आयकर में सुपर सिटीजन के प्रावधानों के लिए 60 वर्ष से अधिक उम्र के सभी व्यक्तियों को मिलना चाहिए।
4. पूर्व में सोने पर आयात शुल्क बढ़ाकर 12.5 फीसदी किया गया इसे घटाकर 4 फीसदी किया जाए।
5. चेक बाउंस पर कड़े प्रावधान होना चाहिए, जिससे चेक लेन-देन की विश्वसनीयता बनी रहे।
6. आयकर की धारा के मुताबिक ट्रक मालिकों से ट्रक के वजन के बराबर प्रत्येक टन में 1 हजार का शुल्क लिया जाता है। इस पर पुुनर्विचार किया जाना चाहिए।
7. आयकर सर्वे के दौरान 60 फीसदी के साथ पेनाल्टी अलग से लगाया जाता है। इसे समाप्त कर पूर्व की भांति 30 फीसदी किया जाना चाहिए।
8. कोविड-19 के दौर में बीमा और स्वास्थ्य क्षेत्र के लिए राहत के साथ पैकेज की घोषणा हो।