छत्तीसगढ़

राजधानी ने स्वास्थ्य विभाग के नाम जुड़ी एक महत्वपूर्ण उपलब्धि, सिंहदेव ने किया ईएलसीए मशीन का लोकार्पण

रायपुर। दिन प्रतिदिन स्वास्थ्य सेवाओं में हो रही उल्लेखनीय उपलब्धियों के साथ शनिवार को छत्तीसगढ़ की राजधानी में एडवांस कार्डियक इंस्टीट्यूट में स्वास्थ्य मंत्री टी एस सिंहदेव ने हृदय रोग उपचार के लिए देश की प्रथम एक्सिमेर लेज़र कोरोनरी एंजियोप्लास्टी (ELCA) का लोकार्पण किया। आज जबकि पूरी दुनिया कोविड महामारी के खिलाफ कोरोना वैक्सीन के माध्यम से लड़ रही है, वहीं छत्तीसगढ़ इस लड़ाई के साथ ही स्वास्थ्य के अन्य मुद्दों पर भी उल्लेखनीय उपलब्धियां दर्ज कर रहा है।


स्वास्थ्य मंत्री टी एस सिंह ने एडवांस कार्डियक इंस्टीट्यूट (ACI) ने देश के पहले कोरोनरी लेसर एंजियोप्लास्टी (ELCA) का लोकार्पण से उन्नत उपचार के क्षेत्र में एशिया में अग्रणी देशों शुमार हो गया है। एडवांस कार्डियक इंस्टीट्यूट, सरकारी मेडिकल कॉलेज, रायपुर, छत्तीसगढ़ में हृदय का अस्पताल है, जिसे राज्य सरकार ने हृदय रोगों के लिए उन्नत उपचार के लिए बनाया है। 1 नवंबर 2017 को अपनी स्थापना के बाद से, संस्थान ने राज्य में और उसके आसपास कॆ राज्यॊं सॆ हृदय संबंधी उपचार का नेतृत्व किया है।

राज्य सरकार डॉ खूबचंद बघेल स्वास्थ्य सहायता योजना (DKBSSY) के माध्यम से नि:शुल्क उन्नत हृदय संबंधी उपचार का समस्त खर्च वहन करती है, जो एक योजना है जो ग्रेट ब्रिटेन से राष्ट्रीय स्वास्थ्य सेवाओं (NHS) का अनुकरण है। एडवांस कार्डियक इंस्टीट्यूट में कार्डियोलॉजी विभाग के प्रमुख डॉ स्मित श्रीवास्तव ने एक्सिमेर लेजर कोरोनरी एंजियोप्लास्टी (ELCA) के बारे में बताते हुए कहा कि ECLA हृदय की वाहिका में कठिन ब्लॊकॆज का इलाज करने के लिए इष्टतम इलाज है।

स्वास्थ्य मंत्री टी एस सिंहदेव ने इस उपचार से लाभान्वित हुई पहली मरीज से की भेंट

स्वास्थ्य मंत्री टी एस सिंहदेव ने आज एडवांस कार्डियक इंस्टीट्यूट पहुँचकर इस सुविधा से लाभान्वित हुई मुंगेली जिले की 46 वर्षीय महिला मरीज से भेंट कर उनका हाल जाना। जिनको दिल का दौरा और बार-बार सीने में दर्द के साथ ACI में भर्ती कराया गया था, उसकी कोरोनरी एंजियोग्राफी से दिल की बाईं पहली धमनी में 90 प्रतिशत की रुकावट का पता चला।

पारंपरिक बैलूनिंग द्वारा एंजियोप्लास्टी करने की कोशिशों से इस युवती को सफलता नहीं मिली, क्योंकि फाइब्रोसिस कॆ कारण ब्लॉकेज बालून से नहीं खुल पा रहा था। यह फाइब्रोसिस कॆ कारण ब्लॉकेज को लेज़र के उपयोग सॆ खॊलना एक सही उपचार का माध्यम है। रुकावट को उच्च ऊर्जा लेज़र द्वारा सफलतापूर्वक वाष्पीकृत किया गया था और भविष्य की ब्लॉकेज को रोकने के लिए स्टेंट लगाए गए थे। रोगी को प्रक्रिया के 2 दिनों के बाद संस्थान से छुट्टी देने की योजना है।

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