छत्तीसगढ़

मनरेगा का अधिकारी हुआ गिरफ्तार

बलरामपुर। जिले की पुलिस ने रोजगार गारंटी योजना के एक कार्यक्रम अधिकारी को गिरफ्तार किया है। उसने कई पंचायतों में रोड, पुलिया और अन्य निर्माण कार्यों का फर्जी बिल लगाकर करीब तीस लाख रुपए का घोटाला किया था। इसके बाद से वह फरार था। पुलिस ने उसे गिरफ्तार कर जेल भेज दिया है। एसडीओपी अभिषेक झा ने बताया कि जनपद पंचायत वाड्रफनगर के तात्कालीन जनपद सीईओ ने मार्च 2020 में पुलिस को एक जांच रिपोर्ट देकर केस दर्ज करने लिखा था।

इस पर मनरेगा कार्यक्रम अधिकारी अश्वनी कुमार तिवारी के खिलाफ धारा 467, 468, 420, 409, 34 के तहत केस दर्ज किया था। इसके बाद से तिवारी नौकरी छोड़कर फरार हो गए थे। तब से पुलिस उनकी तलाश में जुटी थी। उन्होंने बताया कि तिवारी का अंबिकापुर में मकान था, जिसे केस दर्ज होने के बाद उन्होंने बेचने की कोशिश की, लेकिन डर से किसी ने नहीं लिया। इसके बाद वह रायपुर में किराए के मकान में छिपकर रहता था और वहां अपने आधार कार्ड में अपना पता तक बदलवा लिया था।

इतना ही नहीं वह इस बीच रायपुर में एक होटल चला रहा था। इसकी वजह से पुलिस उस तक नहीं पहुंच पा रही थी। साइबर सेल के माध्यम से पुलिस ने रायपुर में उसका लोकेशन का पता लगाया। वह रेसीडेन्सी अवन्ती विहार रायपुर में अपने परिवार के साथ किराए के मकान में रह रहा था।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button