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प्रदेश के कई राज्यों में इन दिनों बर्ड फ्लू का कहर लगातार जारी,अगले तीन माह तक चिकन की बिक्री पर लगी रोक

रांची: प्रदेश के कई राज्यों में इन दिनों बर्ड फ्लू का कहर लगातार जारी है। प्रदेश के कई जिलों और इलाकों में मुर्गियों तेजी से मर रही है। हालात को देखते हुए स्वास्थ्य मंत्रालय ने तीन सदस्यीय दल रांची में तैनात किया गया है। वहीं, अब तेजी से फैलते संक्रमण को देखते हुए प्रशासन ने चिकन की बिक्री पर रोक लगा दी है।

जिला प्रशासन व पशुपालन विभाग को स्पष्ट हिदायत दी गई है कि प्रोटोकॉल के तहत अगले तीन माह तक इंफेक्टेड जोन में पॉल्ट्री व पॉल्ट्री उत्पाद की खरीद बिक्री नहीं होगी। इस जोन में पॉल्ट्री एवं पॉल्ट्री उत्पाद की आवाजाही पर भी रोक रहेगी। इंफेक्टेड जोन में स्वच्छता का विशेष ध्यान रखते हुए गहन निगरानी की जाएगी।

स्वच्छता का आकलन करने के बाद स्वच्छता प्रमाण पत्र जारी होगा, जिसे केंद्र सरकार को भेजा जाएगा। बता दें कि रांची के जेल चौक स्थित आवासीय परिसर में बर्ड फ्लू से मुर्गियों की मौत हुई थी। उसके बाद आवासीय परिसर को एपिक सेंटर बनाते हुए एक किलोमीटर की परिधि में इंफेक्टेड जोन एवं 10 किलोमीटर की परिधि में सर्विलेंस जोन बना कर गहन मॉनीटरिंग की जा रही है।

रांची के जेल चौक स्थित आवासीय परिसर में बर्ड फ्लू की पुष्टि होने के बाद इसका संक्रमण इंसानों में भी फैलने की आशंका है। इसे देखते हुए स्वास्थ्य मंत्रालय भारत सरकार की ओर से तीन सदस्यीय दल गुरुवार शाम को ही रांची भेजा गया है। टीम में ऑल इंडिया इंस्टीट्यूट ऑफ हाइजिन एंड पब्लिक हेल्थ कोलकाता में बायोकेमेस्ट्री डिपार्टमेंट की डायरेक्टर प्रो.डॉ शिबानी लाहिरी एवं माईक्रोबायोलॉजी डिपार्टमेंट के डॉ सयान भट्टाचार्या के अलावा एम्स पटना में पल्मोनरी मेडिसिन के डॉ सोमेश ठाकुर शामिल हैं।

टीम ने शुक्रवार को जेल चौक व आसपास के इंफेक्टेड जोन का गहन निरीक्षण किया। टीम ने जिला पशुपालन विभाग के डॉ अनिल कुमार को बुलाकर उस स्थल का भी मुआयना किया, जहां इंफेक्टेड जोन में सर्वे के बाद मिली मुर्गियों को मार कर दफनाया गया था। टीम ने एपिक सेंटर एवं अन्य स्थलों पर जाकर जानकारी ली कि सेनेटाइजेशन के प्रोटोकॉल का पूरी तरह अनुपालन किया गया है या नहीं। टीम शनिवार को भी क्षेत्र का भ्रमण करेगी।

दुमका के रानीश्वर प्रखंड में पिछले सप्ताह मरी मुर्गियों से कलेक्ट किए गए सैंपल शुक्रवार को जांच के लिए कोलकाता एवं भोपाल भेज दिए गए। जांच के बाद ही पता चल पाएगा कि मौत का कारण बर्ड फ्लू है या नहीं। पशुपालन मंत्रालय के असिस्टेंट कमिश्नर डॉ ए मिश्रा ने इंफेक्टेड जोन का निरीक्षण करने के बाद शुक्रवार शाम पशु स्वास्थ्य एवं उत्पादन संस्थान, कांके में बर्ड फ्लू के एहतियाती उपायों को लेकर एक सेमिनार भी किया।

संस्थान के निदेशक डॉ विपिन महथा ने बताया कि सेमिनार में बर्ड फ्लू से बचाव को लेकर निर्धारित प्रोटोकॉल की विस्तृत जानकारी दी गई। साथ ही बर्ड फ्लू को लेकर विशेष रूप से सचेत रहने एवं किसी प्रकार की सूचना मिलने पर त्वरित कार्रवाई करते हुए केंद्र को सूचना देने की बात कही गई। सेमिनार में संस्थान के चिकित्सकों के अलावा रांची जिला के पशु चिकित्स उपस्थित थे।

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