रायपुर । 12वीं की बोर्ड परीक्षा मूल्यांकन में लापरवाही बरतने वाले व्याख्याताओं पर गाज गिरी है। माध्यमिक शिक्षा मंडल में तीन कैटेगरी में व्याख्याताओं की जिम्मेदारी तय करते हुए कार्रवाई की है। वैसे परीक्षार्थी जिन्होंने पूर्णगणना और पूर्नमूल्यांकन के लिए आवेदन किया था और इस आधार पर उनका 20 से 40 अंक बढ़ गया है, वैसे मूल्यांकनकर्ताओं को माशिम ने तीन साल के लिए बोर्ड के सभी पारिश्रमिक काम से प्रतिबंधित कर दिया है। कैटेगरी एक यानि जिनके मूल्यांकन के बाद 20 से 40 अंक की वृद्धि हुई है, उनकी संख्या 51 है। ये 51 व्याख्याता माशिम के पारिश्रमिक वाले कार्यों से तीन साल के लिए वंचित हो गये हैं।
वहीं दो शिक्षक वैसे हैं, जिनके मूल्यांकन के बाद पूर्णनगणा और पूर्नमूल्यांकन में 41 से 49 अंक की बढ़ोत्तरी हुई है। उन्हें तीन साल के लिए माशिम के परिश्रामिक वाले कार्यों से अलग-अलग करने के साथ-साथ एक इंक्रीमेंट रोकने का प्रस्ताव भेजा गया है। वहीं तीन शिक्षक वैसे हैं. जिनके मूल्यांकन के बाद पूर्णनगणा और पूर्नमूल्यांकन में 50 से ज्यादा अंक की बढ़ोत्तरी हुई है। उन्हें हमेशा के लिए माशिम के परिश्रामिक वाले कार्यों से अलग-अलग करने के साथ-साथ एक इंक्रीमेंट रोकने का प्रस्ताव भेजा गया है।