क्राइमछत्तीसगढ़

इस जिले में छात्र के किडनैपिंग का पुलिस ने किया कुछ ही घंटों में पर्दाफाश, 7 आरोपी गिरफ्तार

बिलासपुर। छात्र को किडनैप करने वाले आरोपियों को पकड़ने में पुलिस ने बड़ी सफलता पाई है । आरोपियों में तीन आरोपी युवक अपहृत छात्र के गांव के परिचित हैं। उन्होंने फिरौती पाने की लालच में आकर छात्र का अगवा किया था और उसे चाकू की नोक पर बंधक बनाकर रखा था।

अपहरणकर्ता पुलिस को गुमराह करने के लिए काॉफ्रेस काल से फोन कर रहे थे। फिरौती की रकम से अपहरणकर्ताओं ने कट‌्टा खरीदने की प्लानिंग की थी। पुलिस ने सूझबूझ के साथ अलग-अलग टीम बनाकर महज कुछ ही घंटों के भीतर नाबालिग समेत 7 अपहरणकर्ताओं को दबोच लिया है।

दरअसल, तखतपुर के रहने वाले शशिकांत पांडेय का 15 वर्षीय बेटा हिमालया पांडेय 9वीं कक्षा का छात्र है। रोज की तरह मंगलवार सुबह 10 बजे भी वह ट्यूशन पर जाने निकला था। इसके बाद वह घर नहीं लौटा। वह 11.30 बजे घर आ जाता था। पर मंगलवार को हिमालया शाम 4 बजे तक घर नहीं पहुंचा था।

इससे परेशान परिजन ट्यूशन टीचर अरविंद तिवारी के पास पहुंचे। तब उन्होंने हिमालया के समय पर घर जाने की बात कही। इससे परिजन परेशान होने लगे। इस बीच शशिकांत के मोबाइल पर अनजान नंबर से काल आया। फोन करने वाले ने उनके बेटे का अपहरण करने और 10 लाख रुपए फिरौती देने की मांग की।

आरोपियों में पैसे नहीं देने पर हिमालया को जान से मारने की धमकी भी दी गई। इससे भयभीत शशिकांत ने पुलिस को सूचना दी। छात्र के अपहरण की जानकारी SP दीपक झा को दी गई। अपहरण व फिरौती का मामला सामने आते ही पुलिस सक्रिय हो गई। CCTV फुटेज की जांच करने के साथ ही साइबर सेल की मदद से अपहरणकर्ताओं का लोकेशन ट्रेस किया गया।

करीब दो घंटे की मशक्कत के बाद पुलिस ने अपहृत बालक को सुरक्षित हासिल करने के साथ ही नाबालिग समेत 7 अपहरणकर्ताओं को भी पकड़ लिया। आरोपियों से फिरौती की रकम के लिए उपयोग किया गया सिम कार्ड, मोबाइल, बाइक एवं चाकू सहित अन्य सामान बरामद किया गया है।

IG रतनलाल डांगी व SP दीपक झा ने बताया कि अपहरणकर्ताओं ने छात्र को सकरी क्षेत्र के ग्राम सैदा में एक सूनसान जगह पर निर्माणाधीन मकान में बंधक बनाकर रखा था। वहीं से बंधक बनाकर फिरौती की मांग की जा रही थी। जिस मोबाइल नंबर से काॉफ्रेस काल किया जा रहा था उसका लोकेशन जरहागांव क्षेत्र में मिल रहा था। ताकि पुलिस को चकमा दिया जा सके। पुलिस ने जरहागांव के सेमरसल से जिन दो युवकों को गिरफ्तार किया। उनसे सख्ती से पूछताछ की गई। तब उन्होंने अपहृत बालक व अपने साथियों के बारे में जानकारी दी। इसी आधार पर पुलिस ने दबिश देकर छात्र को छुड़ाया और सभी अपहरणकर्ता भी पकड़ लिए गए।

अपहरण की सूचना मिलते ही SP दीपक झा ने जिले के सभी अफसरों के साथ ही थाना प्रभारी व साइबर सेल की टीम को इस मामले की जांच कर अपहरणकर्ताओं की धरपकड़ करने के निर्देश दिए थे। इस दौरान SP झा खुद तखतपुर में कैंप कर पल-पल की जानकारी लेते रहे। इस दौरान एडिशनल SP ग्रामीण रोहित झा समेत तमाम पुलिस अधिकारी जांच में जुटे रहे। इन पुलिस कर्मियों की सक्रियता को देखते हुए अब IG रतनलाल डांगी ने टीम को पुरस्कृत करने की घोषणा की है।

दरअसल, पुलिस ने अपहरणकर्ताओं की पहचान व पतासाजी करने के लिए घटनास्थल के रास्तों में लगे CCTV कैमरों की जांच की। तब पुलिस को एक कैमरे में अपहृत बालक बैग लटकाकर अकेले जाते नजर आया। यही वजह है कि पुलिस भी चकमा खा गई थी। पुलिस को लग रहा था कि बालक ने खुद की अपहरण की साजिश रची होगी। पुलिस का मानना था कि अपहरणकर्ता उसे साथ लेकर जाते तब कैमरे में उनकी भी तस्वीरें आती। लेकिन, जब दो अपहरणकर्ता पकड़ाए। इसके बाद पुलिस को पूरा माजरा समझ में आया।

पुलिस की पूछताछ में पता चला कि 3 अपहरणकर्ता हिमालया के मूल गांव सेमरसल के रहने वाले हैं। उन्हें हिमालया के पिता की आर्थिक स्थिति की जानकारी थी। यही वजह है कि उन्होंने अपहरण के लिए हिमालया को टारगेट किया। जिस युवक ने हिमालया की मां को फोन किया था उसकी आवाज सुनकर वह पहचान गई थी। हिमालया ने पुलिस को बताया कि उसे फोन दिलाने के बहाने गांव के तीन परिचित बाइक में बैठाकर साथ ले गए थे। थोड़ी दूर जाने के बाद 4 और युवक आए। उन्होंने चाकू दिखा कर धमकाया और उसे अपने साथ ले गए।

पुलिस ने इस मामले में मुंगेली के रहने वाले राममंगल यादव, सुरेंद्र रजक, घनश्याम यादव, जगदीश पटेल, कान्हा, सोमराज पटेल और एक अन्य नाबालिग को गिरफ्तार किया है। राममंगल यादव, जगदीश पटेल और सोमराज पटेल मुंगेली जिले के सेमरसल गांव के रहने वाले हैं। वहीं सुरेंद्र, घनश्याम और कान्हा बिलासपुर के रहने वाले हैं।

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